हमारे देश में केंद्र सरकार द्वारा नागरिकों के हित के लिए एवं उनके आर्थिक स्थिति में सुधार लाने हेतु अधिक से अधिक लाभ प्रदान करने के लिए कई तरह की योजनाएं लागू की जाती है। जिसकी संपूर्ण लाभ लोगों को मिल पाती है। देश में संचालित राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम(NFSA) के तहत खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति सुरक्षा विभाग द्वारा राशन सामग्री को प्रत्येक नागरिक जो राशन कार्ड के लिए पात्र हैं उन लोगों तक उचित दामों पर पहुंचाया जा सके। इसके अंतर्गत एक नया योजना लागू किया गया “वन नेशन वन राशन कार्ड” यह योजना लगभग तीन राज्यों- पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़ और असम को छोड़कर 24 सभी राज्यों में लागू किया गया है। जिसके अंतर्गत प्रवासी श्रमिकों या लाभार्थियों को उनके कार्य स्थल पर राशन प्रदान किया जा जाता है ताकि अन्य राज्य के किसी भी स्थान पर रहकर उचित मूल्य की दुकान से राशन प्राप्त कर इसका लाभ ले सकें।
वन नेशन वन राशन कार्ड क्या है?
वन नेशन वन (ONORC) का उद्देश्य देश के लगभग सभी प्रांतों में खाद्य सुरक्षा अधिनियम (NFSA) के तहत कवर किए गए सभी पात्र राशन कार्ड धारकों या लाभार्थियों को सुनिश्चित करना है। किसी भी राज्य के राशन कार्ड धारकों या कोई भी प्रवासी श्रमिकों को आधार बायोमैट्रिक प्रमाणीकरण के माध्यम से देश के किसी भी कोने में किसी भी उचित मूल्य की दुकान (FPS) से सब्सिडी वाले खाद्यान्न का अपना हिस्सा ले सकते हैं।
वन नेशन वन राशन कार्ड राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (NFSA) 2013 के तहत राशन कार्डों की देशव्यापी पोर्टेबिलिटी के लिए केंद्र सरकार द्वारा लागू की जा रही एक सूचना प्रौद्योगिकी संचालित योजना है। यह योजना लाभार्थियों या कार्ड धारकों, विशेष रूप से प्रवासी श्रमिकों या लाभार्थियों को सक्षम बनाती है। वन नेशन वन राशन कार्ड (ONORC) योजना का पूरी तरह से उपयोग करने के लिए, केंद्र सरकार ने में 2021 में “Mera Ration” नामक एक मोबाइल ऐप लॉन्च किया गया।
सारांश-
वन नेशन वन राशन कार्ड राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम के तहत केंद्र सरकार द्वारा लागू की गई एक सूचना प्रौद्योगिकी संचालित योजना है। जिसके अंतर्गत कवर किए गए सभी पात्र राशन कार्ड धारकों को सुनिश्चित करना है। जिसमें कोई भी प्रवासी श्रमिकों को आधार बायोमेट्रिक प्रमाणीकृत के माध्यम से देश के किसी भी कोने से उचित मूल्य की दुकान से सब्सिडी वाले खाद्यान्न प्राप्त कर सकें।
वन नेशन वन राशन कार्ड से सम्बंधित प्रश्न (FAQ)
वन नेशन वन राशन कार्ड का मतलब क्या है?
वन नेशन वन राशन कार्ड का मतलब यह है कि भारत के नागरिक अर्थात प्रत्येक राशन कार्ड धारक देश के किसी भी कोने से यानी किसी भी राज्य के अंतर्गत आधार बायोमैट्रिक प्रमाणीकरण के माध्यम से उचित मूल्य राशन दुकान से किफायती दरों पर राशन ले सकते हैं।
वन नेशन वन राशन कार्ड लागू करने वाला पहला राज्य कौन सा है?
वन नेशन वन राशन कार्ड योजना सबसे पहले चार राज्यों में लागू किया गया जिसमें महाराष्ट्र, गुजरात, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना शामिल थे। इस योजना की शुरुआत पिछले साल 9 अगस्त से हुई थी। वन नेशन वन स्कीम से भारत सरकार सभी राशन कार्ड के लिए केंद्रीय भंडार बनाकर और उन्हें आधार से जोड़कर फुल पोर्टेबिलिटी की सुविधा देगी।
एक राष्ट्र एक राशन कार्ड में कितने राज्य शामिल हुए?
एक राष्ट्र एक राशन कार्ड में कुल 24 राज्य शामिल हुए जिसमें आंध्र प्रदेश, बिहार, गुजरात, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, महाराष्ट्र, गोवा, झारखंड, कर्नाटक, केरल, उडीसा, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, मणिपुर, मिजोरम, नगालैंड, सिक्किम, तेलंगाना, त्रिपुरा, हिमाचल प्रदेश। दादर और नगर हवेली, दमन और दीव, जम्मू और कश्मीर। इसमें सभी केंद्रशासित प्रदेश शामिल रहे।
किस राज्य ने एक राष्ट्र एक राशन कार्ड लागू नहीं किया?
एक राष्ट्र एक राशन कार्ड को पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़ और असम राज्य ने अभी तक इस योजना को लागू नहीं किया है। यह योजना प्रवासी श्रमिकों को अन्य राज्यों में भी उनके कार्य स्थल पर राशन प्राप्त करने की अनुमति देती है। जहां उनके राशन कार्ड पंजीकृत नहीं है।
वन नेशन वन राशन कार्ड कब शुरू किया गया?
वन नेशन वन राशन कार्ड 1 अगस्त 2019 को सबसे पहले चार राज्यों में अंतर-राज्य राशन कार्ड पोर्टेबिलिटी के रूप में शुरू किया गया। 1.महाराष्ट्र, 2.गुजरात, 3.आंध्र प्रदेश और 4.तेलंगाना। इन चारों राज्यों में यह योजना एक साथ शुरू किया गया।